बहुत से लोग IAS और IPS को एक ही मान लेते हैं जबकि उन्हें इनके बीच के अंतर की जानकारी नहीं होती। इसलिए आज हम आपको यह बताने वाले हैं कि आईएएस और आईपीएस किसे कहते हैं, इनमें से कौन-सा पद बड़ा होता है, इनके बीच क्या अंतर होता है, ये किस पद पर कार्यरत हो सकते हैं या फिर इनकी सैलरी कितनी होती है इत्यादि के बारे में।
UPSC यानी यूनियन पब्लिक सर्विस कमीशन

(Union Public Service Commission) यह परीक्षा देश की सबसे कठिन परीक्षा होती है लेकिन फिर भी हर साल लाखों की तादाद में लोग इस परीक्षा के लिए फॉर्म भरते हैं यह परीक्षा तीन चरणों में संपन्न कराई जाती है जिसमें प्रीलिम्स, मेंस और इंटरव्यू होता है। इन तीनों चरणों की परीक्षा में सफल होने वाले लोग IAS, IPS और IFS जैसे पदों पर कार्यरत होते हैं।
कौन बनता है आईएएस अधिकारी-

IAS जिसका फुल फॉर्म इंडियन एडमिनिस्ट्रेटिव सर्विस (Indian Administrative Service) है। UPSC की परीक्षा में ज़्यादा नंबर आने पर IAS पोस्ट प्राप्त होता है जिसके जरिए आप ब्यूरोक्रेसी में प्रवेश करते हैं। IAS के लिए चुने गए लोगों को विभिन्न मंत्रालयों या जिलों का मुखिया यानी DM बनाया जाता है।
कहां तक पहुँच सकता है आईपीएस –

वहीं IPS यानी इंडियन पुलिस सर्विस (Indian police service) के द्वारा आप पुलिस यूनिट के बड़े-बड़े अफसरों में शामिल होते हैं। इसमें अगर पोस्ट की बात की जाए तो आप ट्रेनी आईपीएस से डीजीपी या इंटेलिजेंस ब्यूरो, सीबीआई चीफ तक भी पहुँच सकते हैं। आईपीएस अधिकारी को जिले का एसपी (सुपरिटेंडेंट ऑफ पुलिस) भी बनाया जा सकता है।
आखिरकार क्या काम करते हैं आईएएस और आईपीएस –
बात अगर आईएएस और आईपीएस के काम के बारे में की जाए तो एक IAS के कंधे पर पूरे लोक प्रशासन, नीति निर्माण और कार्यान्वयन की जिम्मेदारी होती है। तो वहीं एक IPS अपने क्षेत्र की कानून व्यवस्था बनाए रखने और अ पराधों को रोकने की जिम्मेदारियों को पूरी करता है।
योगी सरकार में चार साल की समीक्षा रिपोर्ट- कितना बदला उत्तर प्रदेश?
एक IAS और IPS में क्या अंतर होता है?
IAS और IPS में अंतर की बात करे तो इन दोनों में सबसे पहला अंतर होता है कि एक IAS हमेशा फॉर्मल ड्रेस में रहते हैं जिनका कोई ड्रेस कोड नहीं होता। तो वहीं, एक IPS को ड्यूटी के दौरान वर्दी पहनना अनिवार्य होता है। दूसरा अंतर है कि एक IAS अपने साथ एक या दो बॉडीगार्ड रख सकते हैं लेकिन एक IPS के साथ पूरी की पूरी पुलिस फोर्स चलती है। एक IAS को मेडल से सम्मानित किया जाता है तो वहीं एक IPS को “स्वॉर्ड ऑफ़ ऑनर अवार्ड” से नवाज़ा जाता है।
दोनों में (IAS, IPS) कौन होता है ज्यादा पावरफुल-
एक और बात जानना बहुत आवश्यक है कि एक क्षेत्र में सिर्फ़ एक ही IAS होता है जबकि दूसरी ओर एक क्षेत्र में एक से अधिक IPS भी हो सकते हैं। IAS को उच्च पद का होने के कारण किसी भी जिले का डीएम बनाया जाता है तो वहीं उससे नीचे पद का होने के कारण IPS को जिले का एसपी बनाया जाता है।
एक IAS और एक IPS दोनों UPSC परीक्षा के द्वारा ही आते हैं लेकिन सिर्फ़ रैंक ऊपर नीचे होने के कारण किसी को IAS का पद मिलता है तो किसी को IPS का। इन दोनों में IAS का पद ऊंचा होता है। एक IAS अगर डीएम बनता है तो वह पुलिस विभाग के साथ-साथ और भी कई विभागों का हेड होता है इसलिए इनके पास पावर ज़्यादा होता है और एक IPS को सिर्फ़ अपने पुलिस विभाग का काम देखना पड़ता है।
कितना मिलता है वेतन और क्या दी सुविधाएं दी जाती हैं-
आईएएस अफसर को मिलती हैं तमाम सुविधाएं
आईएएस अधिकारियों को मिलने वाली अन्य सुविधाओं में बंगला, कुक चपरासी और स्टाफ शामिल है। इसके अलावा उन्हें फ्री टेलीफोन की सुविधा के साथ ही कई राज्यों में बिजली भी फ्री मिलती है। सरकारी यात्राएं भी फ्री होती हैं।इसके अलावा भी उन्हें कई सुविधाएं मुहैया कराई जाती हैं।
एक IAS अफसर के कंधे पर ढेर सारी जिम्मेदारियाँ होती हैं। उन्हें सरकारी विभाग और कई मंत्रालयों का कार्य संभालना होता है और एक IPS अधिकारी को सिर्फ़ पुलिस विभाग में काम करना होता है। इनके काम और इनके जिम्मेदारियों को देखते हुए इनकी सैलरी निर्धारित की जाती है। दोनों की सैलरी में बहुत कम अंतर होता है। सातवें पे कमीशन के बाद एक IAS अधिकारी का वेतन 56,100 से 2।5 लाख प्रति माह होता है। इसके साथ ही उन्हें और भी कई सुविधाएँ मुहैया कराई जाती हैं। तो वहीं दूसरी ओर एक IPS अधिकारी की सैलरी प्रति माह 56,100 से लेकर 2,25,000 मिलते हैं।