Parliament canteens: कोविड-19 संक्रमण के दिनों के बीच में 29 जनवरी से एक बार फिर संसद की कार्यवाही शुरू होने जा रही है। संसद में 1 फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के द्वारा बजट पेश किया जाएगा। आपको बताते चलें मानसून सत्र के बाद इस बार सीधा बजट सत्र आयोजित होने जा रहा है। कोरोना वायरस के बीच तमाम सारी सावधानियां भी बरती जा रही हैं।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने देर शाम इस संबंध में एक एडवाइजरी जारी की है। इस सत्र में किन बातों का ख्याल रखा जाएगा और क्या नियम होंगे।
राज्यसभा और लोकसभा की कार्यवाही अलग-अलग पालियों में कराई जाएगी-
लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला ने बजट सत्र से ठीक पहले बताया है कि कोरोना महामारी के चलते लोकसभा और राज्यसभा का वक्त अलग-अलग तय किया गया है। उन्होंने कहा,
“कोरोना महामारी के बीच 29 जनवरी से बजट सत्र शुरू होने जा रहा है। जिसमें राज्यसभा की कार्यवाही सुबह 9 बजे से लेकर दोपहर 2 बजे तक चलेगी, वहीं लोकसभा की कार्यवाही शाम 4 बजे से लेकर रात 9 बजे तक जारी रहेगी। इस दौरान शून्य काल और प्रश्न काल भी होगा। सभी सांसदों से कहा गया है कि वो सत्र से पहले आरटी-पीसीआर टेस्ट करवाएं।”
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बताते चले कि इस बार का बजट सत्र दो हिस्सों में आयोजित होने जा रहा है। पहला चरण 29 जनवरी से लेकर 15 फरवरी और दूसरा चरण 8 मार्च से लेकर 8 अप्रैल तक होगा।
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद 29 जनवरी को सुबह 11 बजे संसद के दोनों सदनों राज्यसभा और लोकसभा को संबोधित करेंगे। वहीं 1 फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बजट पेश करेंगीं।
खत्म होगी सब्सिडी, खाने के लिए माननीयों को अब ज्यादा भुगतान करना होगा-
लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला ने बताया कि इस बजट सत्र से संसद में मिलने वाला खाना बिना सब्सिडी के मिलेगा। संसद में मौजूद कैंटीन की सब्सिडी पूरी तरह से बंद कर दी गई है।
सब्सिडी खत्म करने को लेकर सभी पक्षों के सांसदों ने बिजनेस एडवाइजरी कमेटी (बीएसी) की बैठक में चर्चा की थी। जिसके बाद फैसला लिया गया कि इसे छोड़ देना चाहिए। लोकसभा स्पीकर बिड़ला ने ही ये प्रस्ताव रखा था।
बताया गया है कि सब्सिडी हटाने के बाद इससे सालाना करीब 17 करोड़ रुपये की बचत होगी। संसद में सांसदों, मीडिया कर्मियों, सुरक्षा कर्मियों और बाहर से आए गेस्ट के लिए बिना सब्सिडी के खाना मिलेगा।
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