बीते दो दिनों से अमेरिका में हो रहे राष्ट्रपति चुनावों की मतगणना को लेकर पूरी दुनिया में एक अलग ही माहौल है। जहां कई लोग बहुत सारे कयास लगा रहे हैं तो वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अजीबोगरीब बयान देने में पीछे नहीं हट रहे हैं।
इस समय भी अमेरिका में मतगणना हो रही है। रिपब्लिकन औऱ डेमोक्रेटिक के संघर्ष में डेमोक्रेटिक के उम्मीदवार जो बाइडन की बढ़त बनती हुई दिख रही है और राष्ट्रपति बनने के लिए जो जादूई आंकड़ा चाहिए वो उसके काफी करीब हैं।
इन सबके बीच अमेरिकी मीडिया का एक अलग रुख नजर आ रहा है। दरअसल अमेरिका के कई बड़े टीवी चैनलों ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के चुनाव को लेकर की जा रही टिप्पणी को बीच में ही रोक दिया। वहाँ के चैनलों एबीसी, सीबीएस और एनबीसी – ने उनकी प्रेस कॉन्फ़्रेंस की कवरेज बीच में ही रोक दी और अपने दर्शकों से कहा कि राष्ट्रपति ने कई झूठे बयान दिए हैं। संवाददाताओं का कहना है कि राष्ट्रपति ट्रंप की बातों से ऐसा लग रहा था कि वो “पोस्टल मतों” को “फ़्रॉड” यानी धोखाधड़ी ठहरा रहे हैं।
ट्रम्प पोस्टल वोट को लेकर जता रहें हैं अविश्वास-
असल बात ये है की इस समय पूरा विश्व कोरोना महामारी से जूझ रहा है। ऐसे में संक्रमण फ़ैलने से रोकना बहुत बड़ी चुनौती है। चुनावों के समय जो बाइडन ने अपने समर्थकों से कहा था वो कोरोना महामारी को देखते हुए पोस्टल मतों से ही अधिक-से-अधिक संख्या में वोटिंग करें।
वहीं ट्रम्प का मतदान से पहले ही कहना था की मतदाता पोस्टल से वोट ना डालें बल्कि ख़ुद जाकर मतदान करें।राष्ट्रपति ट्रंप ने आज व्हाइट हाउस में प्रेस कॉन्फ़्रेंस करते हुए एक बार फिर अपनी जीत का दावा करते हुए ये शिकायत की कि अवैध मतों (पोस्टल मत) से उनके पक्ष में आए चुनाव परिणाम को “चुराने” की कोशिश की की जा रही है।
हालाँकि विश्लेषकों के अनुसार उनके इस दावे का कोई जायज़ आधार नहीं है। राष्ट्रपति ट्रंप जिन पोस्टल मतों की गिनती की ओर इशारा कर रहे हैं, वो अवैध नहीं हैं। उनकी गिनती बाद में इसलिए हो रही है क्योंकि अमेरिका के कई राज्यों में यही प्रावधान है।
राष्ट्रपति चुनाव को लेकर वोटिंग की गिनती अभी भी जारी है-
रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप और डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्मीदवार जो बाइडन दोनों ने ही अमेरिकी राष्ट्रपति चुनावों में एक दूसरे से बढ़त हासिल करने का दावा कर रहे हैं। चुनावों के आख़िरी नतीजे आना अभी बाक़ी हैं और दोनों पक्ष क़ानूनी लड़ाई में उलझने की तैयारी में जुटे हैं।
इलेक्टोरल कॉलेज की संख्या के लिहाज़ से कई अहम राज्यों में अभी भी मतों की गिनती का काम जारी है। यही राज्य चुनाव नतीजे तय करेंगे। अनुमानित तौर पर मिशिगन और विस्कॉन्सिन में जो बाइडन, ट्रंप से आगे चल रहे हैं। पेन्सिल्वेनिया के नतीजे अब तक नहीं आए हैं।
विस्कॉन्सिन, मिशिगन और पेन्सिल्वेनिया राज्यों के नतीजे जो बाइडन की जीत सुनिश्चित कर सकते हैं।नेवाडा और एरिज़ोना में भी फिलहाल जो बाइडन आगे चल रहे हैं। वहीं जॉर्जिया में मतों की गिनती का काम जारी है और यहां दोनों उम्मीदवारों के बीच मतों का फ़र्क कम होता जा रहा है।
ट्रंप का कहना है कि नेवाडा, विस्कॉन्सिन, जॉर्जिया, पेन्सिल्वेनिया और मिशिगन में दोबारा मतों की गिनती कराई जाए। राष्ट्रपति ट्रंप का आरोप है कि चुनावों में फ्रॉड किया गया है।
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पेन्सिल्वेनिया में बाइडन की अनुमानित स्तिथि क्या हो सकती है ?
अभी तक के जो आसार हैं उसके अनुसार पेन्सिल्वेनिया में अभी क़रीब 326,000 पोस्टल वोट गिने जाने बाक़ी हैं। अब तक जो पोस्टल वोट गिने गए हैं उनमें से 75 फीसदी बाइडन के नाम पर थे क्योंकि उन्होंने इसके लिए वोटरों को प्ररित किया था।
वहीं जब ट्रंप ने अपने अभियान की शुरूआत की तो उन्होंने ये आरोप किया कि पोस्टल वोट में फ्रॉड हो सकता है। जिन पोस्टल वोटों की गिनती अभी होनी है अगर उनमें से 75 फीसदी बाइडन के खाते में जाएं तो उन्हें क़रीब 2,50,000 वोट मिलेंगे। इस के साथ ही उन्हें इस राज्य के सभी 20 इलेक्टोरल कॉलेज वोट मिल सकते हैं और उनका आगे का रास्ता साफ हो सकता है।
आज देर रात तक पेन्सिल्वेनिया में होगी मतगणना-
ताज़ा ख़बरों के अनुसार यहां अब तक ट्रंप आगे चल रहे थे लेकिन अब जो बाइडन उनसे आगे बढ़ते दिख रहे हैं।स्थानीय समयानुसार दोपहर बारह बजे तक ट्रंप 1,32611 मतों के फ़र्क से आगे थे, लेकिन शाम के साढ़े पांच बजे तक ये फ़र्क 90,542 वोट का रह गया है। इसका मतलब ये है कि बीते छह घंटों के भीतर बाइडन करीब 40,000 वोटों के मार्जिन से ट्रंप से आगे हो गए हैं।
पेन्सिल्वेनिया की चुनाव अधिकारी कैथी बुकेवर ने कहा है कि वोटर फ्रॉड के आरोपों के बारे में उन्हें कोई जानकारी नहीं है।उन्होंने कहा यहां अभी भी कई हज़ार मतों की गिनती होनी बाकी है इसलिए विजेता के नाम की घोषणा के लिए इंतज़ार करना होगा। अधिकतर वोटों की गिनती शुक्रवार तक हो जाएगी। साथ ही उन्होंने कहा कि देर से पहुंचने वाले बेलट की संख्या काफी कम है।
बाइडन देशवासियों को धैर्य रखने को कह रहे हैं-
जो बाइडन ने अमरीकियों से धैर्य बनाए रखने और नतीजों के आने का इंतज़ार करने की अपील की है। उन्होंने लोगों से गणतांत्रिक प्रक्रिया का सम्मान करने के लिए कहा है।
बाइडन ने कहा, “वोट करना एक पवित्र काम की तरह है, इसके ज़रिए एक देश के वोटर अपनी राय बताते हैं। ये वोटर ही हैं जो देश का राष्ट्रपति चुनते हैं, ये काम कोई और नहीं कर सकता। इसलिए हर एक वोट गिना जाएगा और ऐसा ही होना चाहिए।”
“मुझे और सीनेटर कमला हैरिस को पूरा यकीन है कि जब मतों की गिनती पूरी होगी हमें विजेता घोषित किया जाएगा। मैं लोगों से अपील करता हूं कि वो शांत रहें और चुनाव की पूरी प्रक्रिया को संपन्न होने दें। मतों की गिनती जारी है।”
कोरोना संक्रमण के दौर में हुए हैं चुनाव-
इस बार होने वाले चुनाव कोरोना वायरस महामारी दौर में संपन्न कराए गए हैं, जिससे सबसे अधिक अमरीका प्रभावित हैं।जॉन्स हॉप्किन्स यूनिवर्सिटी के डैशबोर्ड के अनुसार अब तक यहां कोरोना संक्रमण के 95।37 लाख मामले दर्ज किए जा चुके हैं जबकि 2,34,225 लोगों की मौत हो चुकी है।
तोविड ट्ररैकिंग प्रोजेक्ट के अनुसार बुधवार को अमरीका में संक्रमण के 1,03,000 नए मामले दर्ज किए गए हैं।इसका सीधा असर देश की अर्थव्यवस्था पर पड़ा है और एक्ज़िट पोल्स से इस बात का अंदाज़ा भी मिला था कि वोटरों को प्रभावित करने वाला ये सबसे बड़ा मुद्दा था।
अब तक किसे कितने वोट मिले हैं-
यूएस इलेक्शन प्रोजेक्ट के अनुमान के अनुसार मंगलवार को हुए मतदान में 66।9 फीसदी लोगों ने हिस्सा लिया जो बीते 120 सालों में सबसे अधिक है। जो बाइडन को 7।05 करोड़ समर्थकों के वोट मिले हैं जो अब तक किसी राष्ट्रपति को मिले वोटों के हिसाब से सबसे अधिक हैं।
वहीं डोनाल्ड ट्रंप को 6।72 करोड़ वोट मिले हैं जो साल 2016 में उन्हें मिले वोट से 40 लाख अधिक हैं।बाइडन को अब तक 253 इलेक्टोरल कॉलेज के वोट मिले हैं और वो ट्रंप के मुक़ाबले 270 के आंकड़े को छूने के अधिक क़रीब हैं। व
हीं ट्रंप को अब तक 214 इलेक्टोरल कॉलेज के वोट मिले हैं। अमरीका में वोटर राज्य स्तरीय चुनावों में मतदान करते हैं। जनसंख्या के आधार पर हर राज्य के अपने इलेक्टोरल कॉलेज होते हैं जिनके वोट निर्णायक होते हैं।